वामपंथी पार्टियों के आह्वान पर बुधवार को बीडीपीओ अलेवा कार्यालय पर खाद्य सुरक्षा बिल में जन पक्षीय बदलाव की मांग पर मार्क्सवादी कम्यूनिस्ट पार्टी के दर्जनों कार्यकर्ताओं ने धरना दिया, जिसकी अध्यक्षता जिला कमेटी सदस्य कामरेड रोहताश ने की।
धरने पर बैठे कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए पार्टी के कार्यकारी जिला सचिव का. रमेशचंद्र ने कहा कि वामपंथी पार्टियां लगातार मांग कर रही है कि सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत तमाम जरूरत की वस्तुओं के साथ-साथ हर परिवार को दो रुपये किलो के हिसाब से 35 किलो अनाज दिया जाए, लेकिन केंद्र सरकार खाद्य सुरक्षा बिल के नाम पर देश की जनता के साथ धोखाधड़ी कर रही है। नये खाद्य सुरक्षा बिल में 54 प्रतिशत देहात से तथा 73 प्रतिशत लोग शहरों से इस योजना से बाहर रखने की मंशा सरकार की है। जिनको इस योजना से लाभ मिलेगा उन्हें भी राशन की जगह नकद सब्सिडी दी जाएगी, जिसके लागू हो जाने से जहां खरीद कर खाने वालों को बाजार के हवाले किया जाएगा।
किसान की फसल भी बाजार के हवाले होगी और जब सरकार समर्थन मूल्य पर फसल नहीं खरीदेगी तो बड़े व्यापारी किसान की फसल को कोडि़यों के भाव लुटेंगे। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी द्वारा बिल के खिलाफ अभियान चलाया हुआ है। इसी कड़ी में 19 जुलाई को पिल्लूखेड़ा और 25 जुलाई को जींद में प्रदर्शन किया जाएगा। उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं को आह्वान करते हुए कहा कि 30 जुलाई से तीन अगस्त तक संसद पर धरना दिया जाएगा, जिससे 30 जुलाई को जींद से हजारों लोग भाग लेंगे। इस मौके पर भारतीय कम्यूनिस्ट पार्टी के मा. इंद्र दत्त शर्मा, का. रोहताश तथा होशियार सिंह नैन आदि ने भी अपने विचार रखे।
No comments:
Post a Comment