जींद। हरियाणा सरकार ने प्रताड़ित महिलाओं को संरक्षरण प्रदान करने के उद्देश्य से केंद्र सरकार के सहयोग से स्वाधार गृह नामक योजना को प्रदेश में क्रियान्वित किया है। इस योजना के तहत उन संस्थाओं अथवा एजेंसियों को आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी जो इंडियन सोसायटी एट क्त्त्म्० के तहत पंजीकृत है और स्वाधार गृह योजना को लागू करव्गी। संबंधित संस्थाआों को राज्य सरकार की एजेंसी जिनमें महिला विकास निगम, नगर निगम व पंचायतीराज संस्थाएं शामिल हैं के माध्यम से ग्रांट दी जाएगी। स्वाधार गृह के निर्माण पर खर्च आने वाली कुल राशि का स्त्रभ् प्रतिशत हिस्सा केंद्र सरकार द्वारा दिया जाएगा जबकि राज्य सरकार ख्भ् प्रतिशत शेयर इस योजना में देगी। फ्० महिलाओं के लिए इस योजना में अधिकतम फ्० लाख रुपये का अनुदान दिया जाएगा, किराये की इमारत की स्थिति में ऽ० प्रतिशत हिस्सा केंद्र सरकार का होगा और क्० प्रतिशत हिस्सा राज्य सरकार द्वारा दिया जाएगा। इसकी अधिकतम राशि ख्भ् हजार रुपये प्रतिमाह होगी। योजना के तहत मुチयरूप से उन महिलाओं को शामिल किया जाएगा। जिनका परित्याग कर दिया गया है अथवा उन्हें परिवार की तरफ से कोई मदद नहीं मिल रही है। इसके अलावा एड्स से प्रभावित महिलाएं, जेल से रिहा हुई महिला कैदी और सामाजिक व आर्थिक समर्थन के बिना रहने वाली महिलाएं ाी इस योजना का लाभ उठा सकेंगी। घरव्लू हिंसा से प्रभावित महिलाएं एक वर्ष् तक और दूसरी श्रेणी की प्रताड़ित महिलाएं तीन वर्ष् तक स्वाधार गृह में ठहर सकती हैं। भ्भ् वर्ष् से अधिक आयु की महिलाओं को भी स्वाधार गृह में रहने की सुविधा प्रदान की जाएगी और ये महिलाएं अधिकतम पांच वर्षे तक स्वाधार गृह में रह सकती हैं। इस अवधि के बाद इन महिलाओं को वृद्धाश्रम में शिट कर दिया जाएगा। क्त्त् वर्ष् तक की लड़कियों व क्ख् वर्ष् तक के लड़कों को भी उनकी माताओं के साथ स्वाधार गृह में रहने की अनुमति प्रदान की जाएगी। उपायुक्त डा. युद्धबीर सिंह チयालिया ने बताया कि स्वाधार गृह योजना के तहत पीड़ित महिलाओं को आश्रय के अलावा खाना, कपड़े, स्वास्थ्य सुविधाएं व उनकी आर्थिक व सामाजिक सुरक्षा भी सुनिश्चित की जाएगी।
Wednesday, 4 July 2012
स्वधार गृह से सुधरव्गी महिलाओं की स्थिति प्रताड़ित महिलाओं को मिलेगा संरक्षण
जींद। हरियाणा सरकार ने प्रताड़ित महिलाओं को संरक्षरण प्रदान करने के उद्देश्य से केंद्र सरकार के सहयोग से स्वाधार गृह नामक योजना को प्रदेश में क्रियान्वित किया है। इस योजना के तहत उन संस्थाओं अथवा एजेंसियों को आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी जो इंडियन सोसायटी एट क्त्त्म्० के तहत पंजीकृत है और स्वाधार गृह योजना को लागू करव्गी। संबंधित संस्थाआों को राज्य सरकार की एजेंसी जिनमें महिला विकास निगम, नगर निगम व पंचायतीराज संस्थाएं शामिल हैं के माध्यम से ग्रांट दी जाएगी। स्वाधार गृह के निर्माण पर खर्च आने वाली कुल राशि का स्त्रभ् प्रतिशत हिस्सा केंद्र सरकार द्वारा दिया जाएगा जबकि राज्य सरकार ख्भ् प्रतिशत शेयर इस योजना में देगी। फ्० महिलाओं के लिए इस योजना में अधिकतम फ्० लाख रुपये का अनुदान दिया जाएगा, किराये की इमारत की स्थिति में ऽ० प्रतिशत हिस्सा केंद्र सरकार का होगा और क्० प्रतिशत हिस्सा राज्य सरकार द्वारा दिया जाएगा। इसकी अधिकतम राशि ख्भ् हजार रुपये प्रतिमाह होगी। योजना के तहत मुチयरूप से उन महिलाओं को शामिल किया जाएगा। जिनका परित्याग कर दिया गया है अथवा उन्हें परिवार की तरफ से कोई मदद नहीं मिल रही है। इसके अलावा एड्स से प्रभावित महिलाएं, जेल से रिहा हुई महिला कैदी और सामाजिक व आर्थिक समर्थन के बिना रहने वाली महिलाएं ाी इस योजना का लाभ उठा सकेंगी। घरव्लू हिंसा से प्रभावित महिलाएं एक वर्ष् तक और दूसरी श्रेणी की प्रताड़ित महिलाएं तीन वर्ष् तक स्वाधार गृह में ठहर सकती हैं। भ्भ् वर्ष् से अधिक आयु की महिलाओं को भी स्वाधार गृह में रहने की सुविधा प्रदान की जाएगी और ये महिलाएं अधिकतम पांच वर्षे तक स्वाधार गृह में रह सकती हैं। इस अवधि के बाद इन महिलाओं को वृद्धाश्रम में शिट कर दिया जाएगा। क्त्त् वर्ष् तक की लड़कियों व क्ख् वर्ष् तक के लड़कों को भी उनकी माताओं के साथ स्वाधार गृह में रहने की अनुमति प्रदान की जाएगी। उपायुक्त डा. युद्धबीर सिंह チयालिया ने बताया कि स्वाधार गृह योजना के तहत पीड़ित महिलाओं को आश्रय के अलावा खाना, कपड़े, स्वास्थ्य सुविधाएं व उनकी आर्थिक व सामाजिक सुरक्षा भी सुनिश्चित की जाएगी।
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